डेरा सच्चा सौदा के प्रमुख संत बाबा राम रहीम को जेल भेज दिया गया है। उन पर एक साध्वी के साथ गलत व्यवहार का आरोप है। बाबा राम रहीम को अपराधी घोषित करते ही उनके भक्तों ने तोड़फोड़ आगजनी शुरू कर दी जिससे देश में माहौल खराब हो रहा है। भारत के इतिहास में ऐसा पहले भी होते आया है कुछ सालों पहले ही इसी तरह के मामले में आसाराम बापू का भी नाम आया था। फिलहाल आसाराम बापू पिछले कई सालों से जोधपुर के जेल में बंद हैं। एक 16 साल की मासूम लड़की के के साथ गलत ब्यवहार के आरोप के चलते जेल में बंद आसाराम बापू को लाखों-करोड़ों लोगों द्वारा चमत्कारी भगवान माना जाता है।
आसाराम बापू का जन्म 17 अप्रैल 1941 को पाकिस्तान के सिंध प्रांत के नवाब शाह जिले के बेराणी नामक गांव में हुआ था। उनका पूरा नाम आसूमल थाऊमल हरपलानी है आसाराम बापू भारत के एक प्रसिद्ध कथा वाचक और आध्यात्मिक गुरु थे। वह अपने शिष्यों को एक सच्चितानंद ईश्वर के अस्तित्व का उपदेश देते थे उनके भक्त प्रायः उन्हें बापू कहकर संबोधित करते थे। आसाराम बापू लगभग 400 छोटे-बड़े आश्रमों के मालिक हैं और उनकी भक्तों की संख्या लाखों में नहीं करोड़ों में है। अक्सर विवादों से जुड़े रहने वाले आसाराम बापू फिलहाल जेल की हवा खा रहे हैं।
आसाराम बापू ने अपने ज्ञान का इस्तेमाल करके काफी धन दौलत और शोहरत इकट्ठा कर ली थी अब शायद उन्हें किसी और चीज की जरूरत नहीं थी। खुद को कथावाचक और आध्यात्मिक संत मानने वाले आसाराम बापू को जब जनता ने अपना भगवान बना दिया तो उनकी बुद्धि फिर गई। आज के जमाने में प्रसिद्ध कौन नहीं होना चाहता हर इंसान चाहता है कि उसे कुछ ऐसी उपलब्धियां हासिल हो जिससे दुनिया में उसका नाम जाना जाए।
इसी राह में चलते हुए आसाराम बापू ने भी अध्यात्म का रास्ता अपनाया था लेकिन जनता ने उन्हें साक्षात भगवान का रूप दे दिया। अगर किसी सामान्य इंसान को हम भगवान समझकर पूजने लग जाते हैं तो जाहिर सी बात है इंसान खुद को दुनिया में अजेय समझने लगेगा। इसी के चलते आसाराम बापू को लगने लगा कि वह खुद साक्षात भगवान हैं और उनके खिलाफ कोई आवाज नहीं उठा सकता है। अगर जनता उन को भगवान मानती है तो भारतीय सरकार भी उनको एक दिन भगवान मान लेगी। हम पाठकों से कहना चाहते हैं कि अगर एक सामान्य कथावाचक इंसान को भारत की जनता भगवान नहीं मानती तो शायद आसाराम बापू आज एक कथा वाचक के रूप में सामान्य जीवन जी रहे होते।
सिर्फ आसाराम बापू ही नहीं भारत में और भी ऐसे संत हुए हैं जिनको लोगों ने भगवान बना दिया और वह अपने रास्ते से भटक गए। उनमें से एक बहुत बड़ा उदाहरण बाबा राम रहीम और संत रामपाल हैं जिन्होंने जनता के दम पर सरकार कानून को भी कुछ नहीं समझते है। हमारा सभी देश वासियों से अनुरोध है कृपया करके इस तरह से इंसानों को भगवान का दर्जा ना दें। उन्हें सिर्फ अपना गुरु मानिये अगर आप इंसान को भगवान समझने लगेंगे तो जाहिर सी बात है उस इंसान अपने मकसद से भटक जाएगा। अगर आपको देश के संतो के बारे में लिखी हुई यह बातें सही लगे तो कमेंट के जरिए अपनी राय जरुर दें। और इस लेख को शेयर करके भारत के जन जन तक पहुचाइए ताकि देश की जनता दुबारा किसी इंसान को भगवन न समझे।
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